देहरादून। भारत का पसंदीदा कुकी ब्रांड, आईटीसी सनफीस्ट डार्क फैंटेसी, जो रोजाना के पलों को खास अनुभवों में बदलने के लिए जाना जाता है, ने गर्व से अपनी अभिनव पहल, बिग फैंटेसीज गिव विंग्स टू योर इमेजिनेशन की घोषणा की है। इस पहल के माध्यम से, ब्रांड का लक्ष्य कला को तकनीक के साथ मिलाकर बच्चों में रचनात्मकता और कल्पनाशक्ति को जागृत करना है।
यह अनोखी और दूरदर्शी पहल सेंट जोसेफ स्कूल, बैंगलोर में बच्चों, उनके माता-पिता और सम्मानित अतिथियों की उपस्थिति में शुरू की गई। इस कार्यक्रम में बच्चे की कल्पनाशक्ति को जागृत करने के महत्व विषय पर एक विस्तृत पैनल चर्चा भी हुई, जिसमें अंतरिक्ष अन्वेषण, शिक्षा, मनोविज्ञान और रचनात्मक कला के क्षेत्रों की प्रमुख हस्तियां शामिल थीं। पैनल चर्चा के अतिथि वक्ताओं में मंदिरा बेदी, प्रकाश राव (इसरो के पूर्व निदेशक), डॉ. मेघा महाजन (डीएम- निमहंस) और रेवरेंड फादर रोहन डीश्अल्मेडा (प्रिंसिपल, सेंट जोसेफ स्कूल) जैसी प्रतिष्ठित हस्तियां शामिल थीं। पैनल ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे कल्पनाशक्ति एक बच्चे के समग्र विकास का एक मूलभूत पहलू है और कैसे यह रचनात्मकता और समस्या सुलझाने के कौशल को बढ़ावा देती है, जिससे उन्हें नए विचारों को जागृत करने और चुनौतियों से निपटने में मदद मिलती है। इसरो के पूर्व निदेशक प्रकाश राव ने रचनात्मकता और तकनीक के बीच तालमेल बैठाने और भविष्य की पीढ़ियों को आकार देने में कल्पनाशक्ति की भूमिका के बारे में बात की।
अली हैरिस शेरे, सीओओ, बिस्कुट और केक क्लस्टर, फूड्स डिवीजन, आईटीसी लिमिटेडने नई पहल के शुभारंभ पर टिप्पणी करते हुए कहा, आईटीसी सनफीस्ट डार्क फैंटेसी में, हमारा विश्वास हैं कि बच्चों के जीवन को सामान्य से खास बनाने के लिए रचनात्मकता और कल्पना की शक्ति महत्वपूर्ण है। बिग फैंटेसीज़ के माध्यम से हमें भारत में पहले कभी नहीं देखी गई तकनीक लाने पर गर्व है, जो बच्चों को खुद को व्यक्त करने और अपनी कल्पनाओं को साकार होते देखने के लिए एक अनूठा मंच प्रदान करती है। हम देश भर के युवाओं के मन में आश्चर्य और नवाचार की भावना पैदा करने के लिए उत्साहित हैं, जो उन्हें बड़े होने पर असीम संभावनाओं का पता लगाने के लिए प्रेरित करेगा।
यह अनूठी पहल फैंटेसी स्पेसशिप के माध्यम से बच्चों में असीमित कल्पना पैदा करने के लिए उन्नत तकनीक का उपयोग करने की आकांक्षा रखती है। यह एक विशाल इंटरैक्टिव स्क्रीन से सुसज्जित बस है जो पूरे भारत के स्कूलों में जाएगी। अत्याधुनिक तकनीक के संयोजन से संचालित, यह पहल बच्चों के हाथ से बनाए गए डिज़ाइनों को उनके मूल आकर्षण को बरकरार रखते हुए वाइब्रेंट डिजिटल रचनाओं में बदल देती है। एक बार स्कैन करने के बाद, उनकी कलाकृति डिजिटल रूप से 3क् इंटरैक्टिव कैरेक्टर में बदल बदल जाएगी, जिसे काल्पनिक अंतरिक्ष यान के अंदर बड़ी टच स्क्रीन पर प्रदर्शित किया जाएगा।
यह अभियान बैंगलोर में शुरू होगा और जल्द ही राष्ट्रीय स्तर पर शुरू किया जाएगा। इस नई पहल के साथ, ब्रांड का लक्ष्य देश भर के बच्चों की ‘कल्पना’ को जागृत करना है। कला, विज्ञान और तकनीक को मिलाकर, यह कार्यक्रम पूरे भारत के बच्चों के लिए एक अद्वितीय अंतरिक्ष अनुभव बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जहाँ वे अपनी कल्पनाओं को वास्तविकता में बदलते हुए देखेंगे। एक जादुई ट्विस्ट के लिए, सनफीस्ट डार्क फैंटेसी ने कार्यक्रम के दौरान एक बड़ा उपहार दिया, जिसमें चुनिंदा बच्चों को नासा जाने का मौका दिया गया, जहाँ वे अंतरिक्ष अन्वेषण की वास्तविक दुनिया में अपने सपनों को साकार होते हुए देख सकेंगे।

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